जनता के सम्मान से समझौता नहीं: एसपी की सख्ती से पुलिस महकमे में हलचल

दुर्व्यवहार पर कड़ी कार्रवाई: शहडोल एसपी ने दो आरक्षकों को किया निलंबित


Junaid khan - शहडोल। पुलिस की छवि और जनता के साथ विश्वास बनाए रखने के उद्देश्य से शहडोल पुलिस अधीक्षक रामजी श्रीवास्तव ने सख्त कार्यवाही की है। एसपी ने कोतवाली में पदस्थ दो आरक्षक आलोक मिंज और आरक्षक पप्पू यादव को तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिया है। दोनों पर ड्यूटी के दौरान लोगों से दुर्व्यवहार करने के आरोप लगे थे। जिसकी शिकायतें लगातार पुलिस अधीक्षक तक पहुंच रही थीं।

आरक्षकों के खिलाफ हुई थी शिकायत

जानकारी के अनुसार, हाल ही में कुछ नागरिकों ने शिकायत की थी कि दोनों आरक्षक व्यवहारिक मर्यादा और विभागीय आचार संहिता का पालन नहीं कर रहे थे। शिकायतों की पुष्टि होने पर एसपी श्रीवास्तव ने मामले को गंभीरता से लेते हुए तत्काल जांच के निर्देश दिए। प्रारंभिक जांच में आरोपों को सही पाया गया, जिसके बाद दोनों को निलंबित कर विभागीय जांच शुरू की गई।

एसपी का स्पष्ट संदेश

एसपी रामजी श्रीवास्तव ने स्पष्ट संदेश दिया है कि पुलिस का पहला कर्तव्य जनता की सुरक्षा, सहायता और सम्मान बनाए रखना है। किसी भी रूप में असभ्य व्यवहार, दबाव या दुर्व्यवहार को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उन्होंने कहा कि पुलिस वर्दी में रहकर जनता के साथ अनुशासनहीनता पूरे विभाग की छवि को प्रभावित करती है। इसलिए ऐसे मामलों पर शून्य सहिष्णुता की नीति अपनाई जाएगी। 

आरक्षकों के खिलाफ विभागीय जांच जारी रहेगी

इस मामले शहडोल एसपी रामजी श्रीवास्तव ने बताया कि दुर्व्यवहार करने के मामले में दो आरक्षक के खिलाफ निलंबन की कार्यवाही की गई है। पुलिस विभाग के भीतर भी अनुशासन और व्यवहार सुधार को लेकर एक सकारात्मक संदेश गया है। दोनों आरक्षकों के खिलाफ आगे की विभागीय जांच जारी रहेगी, प्रशासन का दावा है कि शहडोल पुलिस को अधिक जिम्मेदार, संवेदनशील और जनता के अनुकूल बनाने की दिशा में यह एक आवश्यक कदम है।

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